स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया : Startup India Standup India

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स्टार्टअप इंडिया भारत सरकार की एक प्रमुख पहल है जिसका उद्देश्य देश में स्टार्टअप्स और नये विचारों के लिए एक मजबूत पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना है जिससे देश का आर्थिक विकास हो एवं बड़े पैमाने पर रोजगार के अवसर उत्पन्न हों।

स्टार्टअप एक इकाई है, जो भारत में पांच साल से अधिक से पंजीकृत नहीं है और जिसका सालाना कारोबार किसी भी वित्तीय वर्ष में 25 करोड़ रुपये से अधिक नहीं है। यह एक इकाई है जो प्रौद्योगिकी या बौद्धिक सम्पदा से प्रेरित नये उत्पादों या सेवाओं के नवाचार, विकास, प्रविस्तारण या व्यवसायीकरण की दिशा में काम करती है।

सरकार द्वारा इस संबंध में घोषित कार्य योजना स्टार्टअप पारिस्थितिकी तंत्र के सभी पहलुओं को संबोधित करने और इस आंदोलन के प्रसार में तेजी लाने की उम्मीद करती है।

स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया का उद्देश्य : 

यह मुख्यतह एक ऐसी योजना हैं जिसके तहत नये छोटे बड़े उद्योगों को शुरू करने के लिए सरकार द्वारा प्रोत्साहन दिया जायेगा जिसमे लोन सुविधा, उचित मार्गदर्शन एवम अनुकूल वातावरण आदि को शामिल किया गया हैं। इसके तहत जरुरी स्किल डेवलेप्मेंट ट्रेनिंग भी दी जायेगी।

  • मुद्रा लोन बैंक योजना
  • प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना

स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया योजना का मुख्य उद्देश्य उद्यमशीलता को बढ़ावा देना हैं जिससे देश में रोजगार के अवसर बढ़े। योजना को सुचारू रूप से चलाने के लिए इस योजना को Department of Industrial Policy and Promotion (DIPP) को सौंपा गया। DIPP ने इस योजना के पहले चरण को लागू करने के लिए इसका विस्तार से अध्यन किया, कई स्टाक होल्डर से बात करने के बाद एक नितिगत ढांचा तैयार किया गया हैं।

हाल ही में मोदी जी ने अपने रेडिओ टॉक शो मन की बात में स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया के बारे में बताया और युवाओं को इससे जुड़ने का आग्रह किया हैं।

सरकार द्वारा बनाया गया प्रारूप : 

रोजगार के अवसर : लेटेस्ट नैसकॉम स्टार्ट अप 2015 रिपोर्ट के अनुसार स्टार्ट अप के जरिये 2014 से 20 तक 65,000 नयी नौकरियाँ लायी जा रही हैं और ऐसी उम्मीद हैं कि यह आंकड़ा बढ़कर 2,50,000 तक पहुँचेगा। अगर यह पहला पड़ाव उम्मीद के अनुसार प्रदर्शन करता हैं तो नौकरियों के लिये और भी अधिक स्थान होंगे। फ़िलहाल यह पूरी तरह से प्राइवेट सेक्टर से प्रेरित हैं।

अंतराष्ट्रीय निवेश मापदंड : अन्तराष्ट्रीय व्यापार का भी यह मापदंड हैं कि भारत इन्वेस्टमेंट की दृष्टि से बहुत अच्छा स्थान हैं,उन्होंने भी इन्नोवेंशन और क्रिएटिविटी के रूप में भारत को अपनी इन्वेस्टमेंट सूचि में शामिल किया हैं। पिछले तीन वर्षों में स्टार्ट अप में अन्तर्राष्ट्रीय निवेश ने बहुत उम्दा प्रदर्शन किया हैं जो कि पांच साल पहले तक असम्भव लग रहा था।

योजना का मुख्य उद्देश्य : प्रधानमंत्री मोदी ने उचित समय में देश के युवाओं के लिये नवीनतम एवम रचनात्मक कार्यों के लिए उन्हें उचित ढांचा तैयार करके दिया जायेगा जिसके तहत उन्हें आर्थिक रूप से मदद दी जायेगी और टैक्स में भी छुट दी जाएगी। यह एक बेहतर समय सरकार द्वारा चुना गया हैं जिसके तहत नवीनतम रचनात्मक कार्यों को सरकार द्वारा पोषित किया जायेगा।सरकार का मुख्य उद्देश्य हैं कि इस स्टार्ट अप का सबसे अधिक लाभ छोटे शहरों एवम गाँव में रहने वाली जनता को हो।

सरकार का अन्य योगदान : इस दिशा में सरकार क्षमता के आधार पर प्रस्तावों का मूल्यांकन करने के लिए DIPP के साथ मिलकर काम करेगी। जिसके तहत जैव प्रौद्योगिकी, विज्ञान एवम् प्रौद्योगिकी , सूचना प्रौद्योगिकी जैसे विभिन्न मंत्रालय के प्रतिनिधियों शामिल होंगे जो एक स्पेशल पेनल के रूप में DIPP का साथ देंगे।

बनाई गई पेनल यह सुनिश्चित करेगी कि किया जाने वाला कार्य करने योग्य एवम उम्मीदवार की क्षमता के तुल्य हैं या नहीं। साथ ही यह भी देखेगी कि आसानी से एवम कम समय में वित्तीय सहायता उपलब्ध की जा रही हैं या नहीं।

उचित मार्गदर्शन एवम संरक्षण : सरकार की योजनानुसार देश के युवाओं को देश के उच्च शिक्षण संस्थाओं जैसे IIT,IIM आदि के नेटवर्क के साथ जोड़ा जायेगा ताकि उन्हें उचित मार्गदर्शन मिले। इससे देश के युवाओं को इन सभी बड़ी यूनिवर्सिटी और अन्य उद्योगिक एरिया के नेटवर्क में आने से बेहतर ज्ञान एवम अनुभव मिलेगा जिससे उन्हें संरक्षण प्राप्त होगा।

स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया लाभ :

  • 10 लाख रुपये से 1 करोड़ ऋण लेने का लाभ।
  • अनुसूचित जाति /अनुसूचित जनजाति और महिला उद्यमियों की ऋण का लाभ।
  • पिछड़ी जाति के लोग भी अपना कारोबार अच्छे से चला सकेंगे।
  • अब गरीब व्यक्ति भी स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप के द्वारा लोन लेकर अपना कारोबार आसमान तक पहुंचा सकता हैं।
  • वह अपना जीवन यापन अच्छे से कर सकेंगे।
  • स्टैंड अप इंडिया का उद्देश्य महिलायों और अनुसूचित जाति /अनुसूचित जनजाति उद्यमियों की सहायता करना है।
  • लोगों की 5 लाख का ऋण देकर समर्थन करना है।
  • उद्यम शुरू करने से पहले तीन साल आयकर में छूट।
  • आवेदन करने के लिए एक छोटा सा फार्म भरने पर लाइसेंस की प्रक्रिया जल्द स्वचालित हो जाएगी।
  • एक फ़ास्ट ट्रक रोड मैप का गठन और एक समर्पित वेवसाइट और आवेदन विकसित किया जाएगा।
  • शुरुआत करने के लिए 10 लाख से 1 करोड़ रुपये तक के ऋण की मंजूरी।

योजना में आने वाली संभावित समस्या :

  • अब तक कोई उचित स्टार्ट अप नियम एवम बाहर निकलने का प्रावधान नहीं बनाया गया हैं।
  • स्टार्ट अप में दिया जाने वाला फंडिंग उस कार्य के जोखिम एवम उसे निभाने वाली योग्यता के मापदंड पर निर्भर करता हैं। स्टार्ट अप के लिए सबसे बड़ी समस्या धन की हैं जो बिना किसी बड़ी गेरेंटी के दिया जा सके।सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को इस दिशा में कार्य करने में सबसे बड़ी बाधा मौजूदा नियमावली हैं जिसे बदलने की जरुरत हैं ताकि बैंक और अन्य पेनल आसानी से लोन अप्रूव कर सके।
  • कई स्टार्ट अप मार्केट कंडीशन, एंट्री टाइमिंग आदि के कारण असफल हो जाते हैं। और इसके कारण असफलता के उदहारण ज्यादा दिखाई पड़ते हैं जबकि यह एक सत्य हैं कि कोई भी बड़ा उद्योगपति असफलता के बाद ही सफलता की तरफ बढ़ता हैं इसलिये जरुरी हैं कि स्टार्ट अप में मिलने वाली असफलता से निराश ना होकर युवा में आगे बढ़ते रहने का हौसला बनाये रखे जिसके लिये सरकार को उनका हौसला अफजाही के लिये उचित मार्गदर्शन देने की जरुरत हैं।
  • स्टार्ट अप के लिये सबसे ज्यादा प्रतिभा छोटे शहरों एवम गाँव में मिलती हैं लेकिन फ़िलहाल उन्हें इन सबसे सफलता पूर्वक जोड़ना एक बहुत बड़ा चेलेंज हैं। एक बार स्टार्ट अप सही तरह से शुरू हो जाता हैं उसके बाद इससे छोटे शहरों एवम गाँव के लोगो को जोड़ा जाना चाहिये जो कि बहुत बड़ी समस्या हैं क्यूंकि यहाँ के कई लोग आजतक सही तरह से कंप्यूटर चलाना अर्थात टेकनिकली बहुत कमजोर हैं।
  • सरकारी निवेशको की कमी भी एक बहुत बड़ी बाधा हैं। स्टार्ट अप के लिये किये जाने वाले पेपर वर्क में लोगो को अनुभव की काफी कमी होगी उसके लिए भी उन्हें उचित संरक्षण देने की जरुरत हैं।
  • इस पुरे स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया में सबसे बड़ी बाधा अनुभव की हैं जिसके लिए जरुरी हैं कि इस कार्य के साथ बड़े रूप में युवा वर्ग जुड़े जो तकनिकी ज्ञान की पर्याप्त समझ रखता हो।
  • इस स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया को सफल बनाने के लिये जरुरी हैं कि सरकार कुछ ट्रेंनिंग प्रोग्राम शुरू करे और लोगो को सही दिशा में प्रशिक्षित करें।

स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया एक बहुत अच्छी कोशिश हैं जिसके जरिये देश में रोजगार के अवसर बढेंगे और देश तेजी से आगे तरफ अग्रसर होगा। इस कार्य की सफलता के लिए इसका गाँव और छोटे शहरों से जुड़ना बेहद जरुरी हैं क्यूंकि देश की अधिक्तर जनसँख्या वही हैं और इन्ही स्थानों पर रोजगार की सबसे ज्यादा कमी हैं।

स्टार्ट अप इंडिया स्टैंड अप इंडिया दस्तावेज :

  • आधार कार्ड
  • निवास का प्रमाण
  • व्यवसाय पते का सबूत
  • पैन कार्ड
  • अनुसूचित जाति /अनुसूचित जनजाति वर्ग के लिए जाति प्रमाण पत्र
  • बैंक खता विवरण
  • आस्तियों और देयताओं के प्रवर्तकों /जमातदार के बयान
  • नवीनतम आयकर रिटर्न
  • रेंट एग्रीमेंट ( यदि किराये पर व्यवसायिक परिसर )
  • यदि जरूरत है तो प्रदुषण नियंत्रण बोर्ड से क्लीयरेंस प्रमाण पत्र
  • परियोजना रिपोर्ट

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